दोस्तों इस कोरोना जैसे वियश्विक महामारी में हमारे प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने आत्मनिर्भर भारत का नारा दिया जिससे हम सभी और हमारा भारत देश आत्मनिर्भर बने तो इसी क्रम में आज ये पोस्ट जिसमें हम आत्मनिर्भर भारत मिशन में भारतीय रेलवे की उपलब्धियां और सहयोग(AatmaNirbhar Bharat Mission Bhartiya Railway Ki Uplabdhiyaan Aur Covid19 Vaishvik Mahamari) देखेंगे की कैसे हमारे भारतीय रेलवे के सभी कर्मचारियों ने अपने मेहनत से इसको साकार किया है।
हम और हमारा देश उनसभी(भारतीय रेलवे के सभी कर्मचारी) के निरंतर मेहनत, निष्ठां और लगन का नतीजा है। आइये हम सभी मिलकर उनके इस योगदान को देखें और धन्यवाद करें।
भारतीय रेलवे हमेशा से ही भारत राष्ट्र की जीवन रेखा रही है। भारतीय रेलवे अपने इतिहास में कभी भी रुका नहीं (पैसेंजर ट्रेंस) लेकिन इस वैश्विक महामारी ने थोड़ा मजबूर किया लेकिन जैसा की हमारे देश के यशस्वी प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने कहा था की “आपदा को अवसर में बदलो” उसको भारतीय रेलवे ने अपने कर्मठ कर्मचारियों की मदद से साकार किया है।
1: श्रमिक स्पेशल ट्रेनों का संचालन आरम्भ
श्रमिक स्पेशल ट्रेनों का संचालन 1 मई 2020 विश्व श्रमिक दिवस से शुरुआत करी गयी |
- श्रमिक स्पेशल ट्रैन चलायीं गयी – 4,621.
- प्रवासी श्रमिक ले जाये गए – 63.10 लाख
- खाने का पैकेट वितरण – 1.85 करोड़
- पानी के बोतल की निशुल्क आपूर्ति – 2.21 करोड़
- ट्रेन कोच कोविड केयर केंद्र में परिवर्तित – 5,601
- समर्पित चिकित्सालय कोविड के लिए – 17
- कोविड के लिए बेड समर्पित – 5,000
- पृथक चिकित्सालय भी कोवड केयर हेतु आरक्षित – 33
“आपदा को अवसर में बदलती रेलवे“
2: कोवड-19 के दौरान सद्धभावना बढ़ाती भारतीय रेलवे
आवश्यक सामान जैसे कि खाद्यान, कोयला, पेट्रोलियम, खाद, लौह अयस्क एवं कि आपूर्ति |
- टाइम टेबल पार्सल ट्रेनें आरम्भ – 1 अप्रैल से 30 सितम्बर २०२० तक 8.3 लाख टन सामग्री कि ढुलाई.
- खाद्यानो कि रिकॉर्ड लोडिंग – 1 अप्रैल से 30 अक्टूबर २०२० तक 3.9 करोड़ टन। 2019 में ये सिर्फ 2.1 करोड़ टन था|
कनेक्टिविटी का इंजन
- विशेष ट्रेनें – 694
- पूजा स्पेशल ट्रेनें- 436
- मुंबई उपनगरीय सेवा – 1,410
- कोलकाता मेट्रो – 200
- सवारी ट्रेनें शुरू करी गयीं – 28
मेक इन इंडिया के क्षेत्र में उपलब्धियां
- पीपीई किट (कवर आल ) – 5.5 लाख
- सैनिटाइजर – 1.4 लाख लीटर
- पुनः उपयोगी फेस कवर – 20 लाख
इंफ्रास्ट्रक्चर का विकास
बड़ी परियोजनाएं जिनको पूरा करके सुरक्षा एवं गति में सुधार
- पुलों कि सुधरीकरण में – 5.5 कि बढ़ोतरी
- ट्रक नवीनीकरण के एरियर्स में तेजी से कमी आयी
- रेल सुरक्षा के लिए कमांडो कोर्स कि शुरुआत – “कोरस“
- 2019-20 में स्टेशनो पर के सीसीटीवी आधारित सर्विलांस प्रणाली – 132
- अब तक कुल स्टेशनो पर के सीसीटीवी आधारित सर्विलांस प्रणाली – 627
- दोहरीकरण कमीशनिंग में चार गुना बढ़ोतरी करी गयी|
- 2014-2020 में दोहरीकरण प्रति वर्ष पूरा करने कि गति – 1458 km/year – 4 times growth
- 2009-2014 में दोहरीकरण प्रति वर्ष पूरा करने कि गति – 375 km/year.
सुरक्षा के क्षेत्र में सर्वोत्तम प्रदर्शन
- अप्रैल 2019 से अभी तक किसी यात्री कि मृत्यु नहीं – भारतीय रेल के इतिहास में पहली बार
- मानव युक्त क्रासिंग को समाप्त करने कि दर में 102% कि बढ़ोतरी
- रेल सुरक्षा के लिए कमांडो कोर्स कि शुरुआत – “कोरस“
- 2019-20 में स्टेशनो पर के सीसीटीवी आधारित सर्विलांस प्रणाली – 132
- अब तक कुल स्टेशनो पर के सीसीटीवी आधारित सर्विलांस प्रणाली – 627
“आपदा को अवसर में बदलती रेलवे“
3: इंफ्रास्ट्रक्चर एक बेहतर कल के लिए – भारतीय रेलवे
- 2014-20 में पूंजीगत व्यय 6,45,600 करोड़ , 60 वर्षों 1951-2014 में हुए संचयी निवेश 4,95,958 को पार करा गया |
- 1353 लम्बी परियोजना पूर्ण|
- गोल्डन क्वाड्रीलेटरल / गोल्डन डायगोनल के मार्गों पर पारम्परिक 1x25 kV से 2X25 kV कर्षण कि और अग्रसर |
- बिना-कटनी-विश्रामपुर खंड और डफस में पहले से ही कार्यशील|
- नई दिल्ली -मुंबई और नई दिल्ली – हावड़ा को 2024 तक पूरा कर लिया जायेगा|
पूर्वोत्तर सातों राज्यों से कनेक्टिविटी
- त्रिपुरा में 112 किलोमीटर लम्बी अगरतला – सबरूम रेल लाइन पूर्ण |
- लामडिंग से होजाई 85 किलोमीटर लम्बी दोहरीकरण परियोजना पूर्ण |
आत्मनिर्भर भारत – नए भारत कि ताकत
- प्रोक्योरमेंट पालिसी में बदलाव – इलेक्ट्रिक लोकोमोटिव के 15% से ज्यादा स्वदेशी स्रोत से लिए जायेंगे|
- रेल व्हील फैक्ट्री में एक्सेल क्षमता में बढ़ोतरी जिससे आयत पर निर्भरता कम होगी|
- वनडे भारत के 44 रेको के प्रोक्योरमेंट कि शुरुआत
- मेक इन इंडिया के कॉम्पोनेन्ट को बढ़ाया गया
- निर्यात में तेजी – बनारस रेल इंजन कारखाना , वाराणसी ने श्रीलंका रेलवे को सात डीजल रेल इंजन का निर्यात |
- रोलिंग स्टॉक के उत्पादन में बढ़ोतरी – (2018-19) – 4,429 (2019-20) – 6,277
- कोचों के उत्पादन में 42% कि बढ़ोतरी|
स्वच्छ रेल स्वच्छ भारत
- 100 % कोच बायो-टॉयलेट युक्त|
- 953 स्टेशन पर मेकेनाइज़्ड क्लीनिंग कि सुविधा|
ग्रीन रेलवे
- इलेक्ट्रिफिकेशन कार्य में 4.5 गुना बढ़ोतरी|
- 2009-14 3038 एलेक्ट्रिफिएड रूट|
- 2014-19 में 13,687 एलेक्ट्रिफिएड रुट्स|
- 12,000 हॉर्स पावर के 53 मेड इन इंडिया इलेक्ट्रिक लोको का विनिर्माण|
- 960 बड़े रेल भवनों पर लगाए गए 103 मेगावाट के सोलर पावर प्लांट्स|
- 103.4 विंड पावर प्लांट्स प्रारम्भ|
स्किलिंग भारत
- राष्ट्रीय रेल और परिवहन संस्थान – डीम्ड यूनिवर्सिटी और राष्ट्रीय महत्व का संस्थान|
- 2018 से क्लासेज प्रारम्भ|
- 20 राज्यों एवं केंद्र शाषित प्रदेशों से 200 विद्यार्थी|
- 2 प्रोग्राम (3 तीन वर्षीया बीएससी एवं BBA )|
4: डेडिकएड फ्रेट कॉरिडोर के कार्य में तेजी – भारतीय रेलवे
- पश्चिम डीएफसी में 306 किलोमीटर लम्बी रेवाड़ी – मदार खंड का कार्य पूर्ण|
- पूर्वी डीएफसी में 194 किलोमीटर लम्बी खुर्जा – भदान खंड का कार्य पूर्ण |
माल परिवहन में तेजी
- अक्टूबर 2019 में 24.05 किलोमीटर प्रति घंटा |
- अक्टूबर 2020 में 46.34 किलोमीटर प्रतिघंटा|
- टाइम टेबल में उच्च गति मानक अंकित|
- माल धुलाई में 15.4% कि बढ़ोतरी |
- नए वेगन के इंडक्शन में 22 प्रतिशत कि वृद्धि |
- सभी निजी साइडिंग को निजी फ्रेट बनाने कि अनुमति|
- बंगलादेश को निर्यात के लिए नई संसोधित माल रेक के माध्यम से गुड्स शेड्स को निजी निवेश के माध्यम से विकसित करने हेतु पालिसी जारी|
- 15% बीजी सीजन सरचार्ज समाप्त|
- तो पॉइंट कॉम्बिनेशन एवं मिनी रेक पर लगने वाला 5% सप्लिमेंट्री चार्ज समाप्त|
- Eपैमेंट सुविधा प्रारम्भ|
- माल लदान से जुड़े 1,268 ग्राहक इ-पेमेंट सुविधा का लाभ ले रहे हैं।
अनुमोदित रियायतें
- लम्बी दूरी : कोयला लौह अयस्क एंड फिनिश्ड स्टील पर 15-20% |
- सभी कार्गो (कोयला और लौह अयस्क छोड़ ) पर 10-50% |
- कंटेनर आयात – भरे हुए पर 5% तथा खाली पर 25%|
- फलयेश पर 40% |
किसान रेल से कृषि क्षेत्र में खुशहाली
किसान रेल प्रारम्भ – पीपीपी माध्यम से दूध, मांस, मछली सहित पेरिशेबल आइटम्स पर राष्ट्रीय स्तर पर निर्बाध रूप से तापमान नियत्रित आपूर्ति श्रृंखला
- देवलाली से दानापुर अगस्त २०२० में प्रारम्भ महाराष्ट्र , मध्य प्रदेश उत्तर प्रदेश और बिहार को जोड़ना |
- किसान रेल में सब्जी एवं फलों के परवहन पर ५०% कि रियायत |
- प्रोटीन कंटेनर विशेष ट्रेन दादरी से जेएनपीटी १४४ फेरे|
- दिल्ली – लखनऊ और मुंबई – अहमदाबाद रेल मार्गों पर आधुनिक तेजस ट्रेनें चलाई गयी
- वन्दे भारत नई दिल्ली से कटरा के मध्य आधुनिक यात्री सुविधा से परिपूर्ण दूसरी ट्रेन वन्दे भारत|
- नई ट्रेनें कि शुरुआत -१३४
- ट्रेनों कि सुविधा बढ़ाया गया ११८
- ट्रेन के आवृति में वृद्धि २२
- विशेष ट्रेनों का सञ्चालन jee NEET और NDA , UPSC के परीक्षा के लिए
- ६००० रेलवे स्टेशनो पर फ्री विफई सुविधा
- ८३५ रेलवे स्टेशनो पर एयरपोर्ट जैसे सुविधा
- अयोध्या स्टेशन का उनयन एवं अधिनिकीकरण
- पीपीपी प्रणाली के अनुरूप १०९ ट्रेन मार्गों पर १५१ आधुनिक ट्रेन
- यात्रा समय में कमी
- रेल क्षेत्र में निजीकरण से ३०००० करोड़ अनुमानित